Saturday, September 21, 2024

गणिनी आर्यिका स्वस्ति भूषण माताजी ससंघ के सानिध्य में जयकारों के बीच आमेर के नेमिनाथ सांवला जी मंदिर में तलघर से निकाली प्राचीन एवं दुर्लभ प्रतिमाऐ एवं यंत्र अभिषेक, शांतिधारा के आयोजन किये गये उमड़ा श्रद्धालुओं का हुजूम

जयपुर । गणिनी आर्यिका स्वस्ति भूषण माताजी के सानिध्य में गुरुवार, 07 अप्रैल को आमेर के नेमिनाथ सांवला जी दिगम्बर जैन मंदिर में तलघर स्थित प्राचीन एवं दुर्लभ प्रतिमाओं एवं यंत्रों को सैकड़ों श्रद्धालुओं की उपस्थिति में जयकारों के बीच
दर्शनार्थ बाहर निकाला गया।

पहली बार किसी आर्यिका माताजी के सानिध्‍य में तलघर से निकाली गईं दुर्लभ एवं प्राचीन प्रतिमाओं के इस मौके पर प्रतिमाओं के अभिषेक एवं शांतिधारा की गई ।

समिति के अध्यक्ष सुधांशु कासलीवाल एवं मंत्री महेन्द्र कुमार पाटनी ने बताया कि प्रातः 7.15 बजे मूलनायक भगवान श्री नेमिनाथ की पाषाण की पद्मासन सम्वत् 1120 की प्रतिमा के नित्यमह अभिषेक, शांतिधारा के बाद जयकारों के बीच तलघर स्थित प्राचीन प्रतिमाऐ एवं यंत्र दर्शनार्थ बाहर निकाले गए। सर्व प्रथम बाहर निकाली गई भगवान पार्श्वनाथ की मनोरम अष्ट धातु की प्रतिमा के मंत्रोच्चार के साथ पंचामृत अभिषेक किये गये तथा विश्व में सुख शांति और समृद्धि की कामना करते हुए शांतिधारा की गई। इस मौके पर आयोजित धर्म सभा में माताजी ने मंगल प्रवचन देते हुए धर्म की रक्षा एवं प्राचीन धरोहर की सुरक्षा हेतु जयपुर वासियों को नियमित रूप से मंदिर के दर्शनार्थ आने का संकल्प दिलाया। उन्होंने मुक्त कंठ से आमेर के पुरातत्व एवं प्राचीन धरोहरों के लिए उस समय के राजा-महाराजाओं, विद्वानों, राज दरबार में सेवा देने वाले जैन बन्धुओं एवं अन्य बुजुर्गों की प्रशंसा की। आज की पीढी से इस प्राचीन धरोहर व सम्पदा की रक्षा व सुरक्षा के लिए आगे आने का आव्हान किया।

अध्यक्ष सुधांशु कासलीवाल ने स्वागत उदबोधन दिया। मंत्री महेन्द्र कुमार पाटनी ने मंदिर निर्माण एवं प्राचीन प्रतिमाओं व यंत्रों की जानकारी दी।

उन्होंने बताया कि मंदिर का निर्माण संवत 1600 के लगभग करवाया हुआ है। इसका कोई ठोस प्रमाण उपलब्ध नहीं है।

तलघर में 258 प्रतिमाऐ तथा कई महत्वपूर्ण यंत्र है जो सम्वत 1120 से 1869 के मध्य के है।

विनोद जैन कोटखावदा ने बताया कि इससे पूर्व सन् 2019 में मुनि श्री विद्या सागर जी महाराज ससंघ के सानिध्य में तलघर से प्रतिमाऐ निकाली गई थी।

गणिनी आर्यिका स्वस्ति भूषण माताजी प्रवास व्यवस्था समिति के शिरोमणि संरक्षक कैलाश ठोलिया माणक ठोलिया, रमेश ठोलिया ने शांति धारा की । समाजश्रेष्ठी विवेक काला, उमराव मल संघी, सुभाष चन्द जैन, प्रदीप ठोलिया,दीपक बिलाला, दीपक बोहरा, कमल चांदवाड एवं टकसाली परिवार सहित कई श्रद्धालुओं ने अभिषेक कर पुण्यार्जन किया।
माताजी के पाद प्रक्षालन का पुण्यार्जन कुशल चन्द – मधु ठोलिया परिवार को मिला ।

सुबाहु पाटोदी एवं परिवारजन द्वारा महाआरती के बाद समापन हुआ । इस मौके पर आई ए एस अधिकारी निशांत जैन, पूर्व आई ए एस अधिकारी एन के सेठी, पूर्व आईपीएस एस के जैन, जस्टिस एन के जैन, कमल बाबू जैन, राज कुमार कोठ्यारी, प्रदीप जैन, विनोद जैन ‘कोटखावदा’, पी के जैन, पूनम चन्द शाह, सुनील बख्शी, योगेश टोडरका, प्रदीप ठोलिया, अशोक बाकलीवाल, राकेश छाबड़ा, सुभाष बज, संजय जैन, भारतभूषण जैन, चेतन जैन निमोडिया, माणक ठोलिया ,धीरज पाटनी, प्रवीण बड़जात्या, पूनम चांदवाड, रेखा पाटनी,प्रिया बडजात्या
सहित बड़ी संख्या में समाजश्रेष्ठी शामिल हुए।

संचालन पं. मुकेश जैन’मधुर’, पं. चीकू भैय्या, अनुष्ठानाचार्य कपिल भैय्या इन्दौर ने किया ।

अध्यक्ष सुधांशु कासलीवाल एवं मंत्री महेन्द्र कुमार पाटनी ने बताया कि सायकांल 4.00 बजे विधि विधान से प्रतिमाओं को वापस तलघर में विराजमान कर दिया गया।

प्रवास समिति के महामंत्री विनोद जैन ‘कोटखावदा’ के मुताबिक शुक्रवार, 8 अप्रैल को माताजी ससंघ आमेर स्थित सभी दिगम्बर जैन मंदिरों के दर्शन करेगी। प्रातः 9.00 बजे मंदिर सांवला जी में धर्म सभा होगी ।सायंकाल गुरु भक्ति, आनन्द यात्रा एवं महाआरती के आयोजन होगें ।शनिवार, 09 अप्रैल को माताजी का प्रातः 6.15 बजे आमेर से मंगल विहार होकर जोरावर सिंह गेट पहुचेगी जहां से विशाल जुलूस के साथ रवाना होकर प्रातः 8.30 बजे ख्वास जी का रास्ता स्थित श्री पार्श्वनाथ दिगम्बर जैन मंदिर सोनियान में भव्य मंगल प्रवेश होगा जहां प्रातः 9.00 बजे धर्म सभा में माताजी के मंगल प्रवचन होगें। सायकांल गुरु भक्ति, आनन्द यात्रा एवं महाआरती के आयोजन किये जायेंगे ।
रविवार, 10 अप्रैल को विशाल जुलूस के साथ जौहरी बाजार के घी वालो का रास्ता स्थित श्री दिगम्बर जैन मंदिर ठोलियान में प्रातः 8.30 बजे भव्य मंगल प्रवेश होगा ।

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