Saturday, September 21, 2024

150वीं जन्म जयंती पर दो दिवसीय कार्यक्रम आज से

पू. गणेश प्रसाद वर्णी जी की जन्म जयंती पर होगें, 100 से ज्यादा स्थानों पर कार्यक्रम

मनीष विद्यार्थी/सागर। परम पूज्य गणेश प्रसाद वर्णी जी, जैन समाज में शिक्षा के क्षेत्र में अलख के जागने वाले युग पुरुष थे।आज भी उनके द्वारा स्थापित गुरुकुल जीवंत है। संस्कृत महाविद्यालय एवं वर्णी स्नातक संस्थान मोराजी सागर के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित दो दिवसीय कार्यक्रम 2 अक्टूबर 2023 से वर्णी भवन मोरा जी में प्रारंभ होगा। पू. वर्णी जी की जन्म जयंती के कार्यक्रम देश के सौ स्थानों पर, अनेक सांस्कृतिक कार्यक्रमों के साथ संपन्न होगें। जिसमें सागर, कानपुर जबलपुर, मड़ावरा, द्रोणगिरी वाराणसी, छतरपुर, खरगपुर, शाहगढ, खतौली मुख्य रूप से है। पू. वर्णी जयंती के उपलक्ष्य मे दो दिवसीय कार्यक्रम वर्णी भवन मोराजी में परम पूज्य मुनि श्री अजित सागर जी महाराज, आ. सौम्यनंदनी माताजी,आ.श्री सुयोग्य नंदिनी माताजी के मंगल सान्निध्य में सुबह से नित्य नियम पूजन, आमंत्रित विद्वानों द्वारा वर्णी जी के व्यक्तित्व एवं कृतित्व विषय पर प्रकाश डाला जाएगा मुनिश्री, आ श्री के मंगल प्रवचन दोपहर 1बजे से संस्था के पूर्व स्नातक सुरेश जैन आईएएस की अध्यक्षता एवं न्यायमूर्ति श्रीमती विमला जैन के मुख्य अतिथि में मोरा जी संस्थान के स्नातक छात्रों का सम्मेलन होगा। शाम को आर्यिका ससंघ के सान्निध्य में आचार्य भक्ति और रात्रि 7:30 बजे से पूज्य वर्णी के जीवन पर आधारित फिल्म का प्रदर्शन किया जावेगा। रात्रि मे नौ बजे से जैन भ्रात संघ सागर के तत्वावधान में कटरा नमक मंडी स्थित गौराबाई दिगंबर जैन मंदिर प्रांगण मे विराट आरती नृत्य और गायन प्रतियोगिता होगी है 3 अक्टूबर को नित्य नियम पूजन आर्यिका.श्री के मंगल प्रवचन दोपहर 1बजे से राष्ट्रीय विद्वत संगोष्ठी प्रो. पं. फूलचंद्र प्रेमी वाराणसी की अध्यक्षता में आयोजित होगी है। मोराजी में स्थापित पूज्य वर्णी जी की प्रतिमा पर श्रीफल अर्पण किया जायेगा। पूज्य वर्णी जी द्वारा स्थापित शिक्षण संस्थानो में सेवारत साधर्मी बंधुओं एवं पूज्य वर्णी जी पर कार्य करने वालों को सम्मानित किया जावेगा। परम पूज्य महामुनिराज आचार्य श्री विद्यासागर जी महाराज के परम शिष्य परम पूज्य मुनि श्री अजितसागर महाराज के मंगल प्रवचन होगे। आभार एवं समापन प्रेस विज्ञप्ति में कार्यक्रम के मीडिया प्रभारी मनीष विद्यार्थी ने बताया कि पूज्य वर्णी जी का जन्म असाटी समाज में हुआ था, लेकिन जैन धर्म पर आस्था के कारण एवं शताधिक शिक्षण संस्थाओं की स्थापना करवाने से वह जैन समाज के श्रेष्ठ संतों में स्थान प्राप्त है। इस कार्यक्रम की संयोजन में पिछले दो-तीन वर्षों से मोराजी समिति के अध्यक्ष संतोष पटना, मंत्री डॉ क्रांति कुमार सराफ, उप मंत्री मुकेश जैन,राजेश शास्त्री, अभिषेक शास्त्री वर्णी स्नातक संस्थान के अध्यक्ष डॉ. हरिश्चंद्र जैन शास्त्री, कार्य. अध्यक्ष संजय शास्त्री, कोषाध्यक्ष राजेंद्र जैन दलपतपुर, संयोजक चंद्रेश जैन शास्त्री के अथक प्रयासों से पूज्य वर्णी जी की जन्मस्थली हंसेरा में वर्णी स्मारक का निर्माण एवं 150 वीं जन्म जयंती का यह आयोजन में सक्रिय भूमिका मोराजी प्रबंध समिति एवं वर्णी स्नातक संस्थान के छात्रों द्वारा निस्वार्थ भाव से संयोजित किया गया है, जो जैन प्रभावाना का निमित्त बनेगा।

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