जयपुर। दि.-19अगस्त 2023 को श्री टोडरमल स्मारक भवन में चल रहे आध्यात्मिक शिक्षण शिविर में अ.भा.दिग.जैन विद्वत्परिषद् द्वारा घोषित “तत्त्वार्थ सूत्र वर्ष 2023-2024” के संबंध प्रातः तत्त्वार्थसूत्र स्वाध्याय वर्ष के पोस्टर का विमोचन श्री महेन्द्र कुमार कासलीवाल के कर कमलों से राष्ट्रीय कार्यकारिणी की उपस्थिति में किया गया। विद्वत्परिषद् के कार्याध्यक्ष डॉ शांतिकुमार पाटिल ने विद्वत्परिषद् के द्वारा तत्त्वार्थसूत्र स्वाध्याय वर्ष मनाने के विषय में संक्षिप्त चर्चा की। संयोजक डा.प्रवीण जैन ढाईद्वीप ने विस्तार से कार्यक्रम की जानकारी दी। ट्रस्टी परमात्म प्रकाश भारिल्ल ने तत्त्वार्थसूत्र वर्ष मनाने की उपयोगिता पर प्रकाश डाला। संचालन महामंत्री डा.अखिल बंसल ने किया। दोपहर बैठक का आयोजन पण्डित परमात्म प्रकाश जी भारिल्ल की अध्यक्षता में सम्पन्न हुई जिसमें निम्नलिखित प्रकार से कार्यवाही सम्पन्न हुई –
(अ) तत्त्वार्थ सूत्र का सामूहिक मंगलाचरण किया गया।
(ब)तत्त्वार्थ सूत्र वर्ष आयोजन समिति का गठन इस प्रकार से किया गया जिसका निर्णय अन्तिम एवं सर्वमान्य होगा-
- समिति अध्यक्ष-प्रो.डॉ. वीरसागर जैन, राष्ट्रीय अध्यक्ष।
- मुख्य संयोजक – डॉ. प्रवीणकुमार जैन, ढाईद्वीप , इन्दौर।
3.सदस्य – पं.अभयकुमार जी शास्त्री 4. सदस्य- पण्डित परमात्मप्रकाश भारिल्ल।
5.* सदस्य- डॉ. शान्तिकुमार पाटिल, कार्याध्यक्ष।
6.* सदस्य- डॉ. अखिल बंसल, महामंत्री।
7.* सदस्य- डॉ. शुद्धात्म प्रकाश भारिल्ल, राष्ट्रीय प्रवक्ता
8.* सदस्य- पण्डित पीयूष जैन शास्त्री।
9.डा.अरविंद शास्त्री, सांगानेर
(स) डॉ. प्रवीण कुमारजी जैन ने प्रमुख योजना प्रस्तुत की- कंठपाठ, निबंध प्रतियोगिता, शोध-पत्र, प्रश्नोत्तरी, कौन बनेगा तत्त्वार्थ सूत्र विजेता, शलाका प्रतियोगिता, परिचर्चा, संगोष्ठी, ऑनलाइन कक्षा, स्थानीय कक्षा।
(द)* डॉ. शुद्धात्म प्रकाश भारिल्ल ने कार्यक्रम की रीति नीति पर विस्तृत मार्गदर्शन दिया जिसके अनुरूप आत्मानुभूति एवं तत्वप्रचार की प्रमुखता से आडम्बर विहीन, मितव्ययिता, पारदर्शिता एवं साधर्मीपने से ही रूपरेखा तय की जावेगी।
(क)* प्रस्तावित समस्त गतिविधियों की अनुमोदना की गई एवं इनकी व्यवस्थित क्रियान्विति हेतु संयोजक टीमों का गठन, समय सारणी निर्धारण, आवश्यक नियम, पुरुस्कार व्यवस्था आदि पर विस्तृत विमर्श हुआ।
(ख)* मुख्य संयोजक डॉ. प्रवीणकुमार जी जैन लिखित कार्ययोजना बनाकर प्रस्तुत करेंगे जिसे समिति अन्तिम रूप देगी।
- अध्यक्षीय उद्बोधन देते हुए पण्डित परमात्मप्रकाशजी भारिल्ल ने इस योजना को महत्वपूर्ण बताते हुए इसे पूर्ण गंभीरता, सावधानी एवं पूरी ताकत से टीम वर्क करने की प्रेरणा दी, एवं पूरे सम्बल का आश्वासन दिया।