अयोध्या। शाश्वत तीर्थंकर जन्मभूमि अयोध्या में गणिनी प्रमुख आर्यिका श्री ज्ञानमती माताजी एवं प्रज्ञाश्रमणी आर्यिका श्री चंदनामती माताजी के सान्निध्य में अखिल भारतवर्षीय दिगम्बर जैन युवा परिषद् के केन्द्रीय कार्यकारिणी की बैठक सम्पन्न हुई। उक्त बैठक युवा परिषद के परामर्श प्रमुख पीठाधीश स्वस्तिश्री रवीन्द्रकीर्ति स्वामीजी की पावन उपस्थिति और राष्ट्रीय अध्यक्ष डाॅ. जीवन प्रकाश जैन की अध्यक्षता में आयोजित की गई। बैठक में एजेंडा के अनुरूप सर्वप्रथम युवा परिषद के मुख्य संयोजक प्रतिष्ठाचार्य श्री विजय कुमार जैन ने मंगलाचरण किया। राष्ट्रीय अध्यक्ष जी द्वारा सभी को युवा परिषद के संदर्भ में विभिन्न जानकारी एवं कार्यकलापों से अवगत कराया गया।
युवा परिषद् के राष्ट्रीय महामंत्री उदयभान जैन जयपुर ने अवगत कराया कि एजेंडा के अनुरूप इस अवसर पर युवा परिषद् की संगठनात्मक प्रगति पर विचार करते हुए विभिन्न प्रदेशों में युवा परिषद् के अधिवेशन करने पर विचार किया गया। इसी संदर्भ में शीघ्र एक अधिवेशन शीतल तीर्थ-रतलाम में करने का निर्णय हुआ। इसी प्रकार आगामी कार्य योजनाओं में ‘‘हर घर के द्वार सजाएं, णमोकार महामंत्र लिखाएं’’ इस योजना पर भी विचार करके इसे आगे बढ़ाने का निर्णय किया गया। इसी प्रकार अन्य योजना में युवा परिषद की एक स्मारिका का प्रकाशन भी आगामी भविष्य में किये जाने की रूपरेखा पर प्रस्ताव पारित हुआ। चूंकि वर्तमान में पूज्य माताजी के द्वारा भगवान ऋषभदेव जन्मभूमि अयोध्या तीर्थ का ऐतिहासिक विकास कार्य चल रहा है जिसमें अयोध्या कमेटी द्वारा एक प्रभावना रथ का भी प्रवर्तन किया जा रहा है। अतः इस रथ प्रवर्तन में भी देश की विभिन्न युवा परिषद शाखाओं के द्वारा अपना सहयोग दिया जाये और अयोध्या के विकास में युवा परिषद को भी यशस्वी बनाया जाये, ऐसा निर्णय सभी के द्वारा तय हुआ। इस संदर्भ में परामर्श प्रमुख पीठाधीश स्वामीजी ने रथ की समस्त कार्ययोजनाओं पर विस्तृत चर्चा करके प्रारूप बताया, जिसमें राजस्थान प्रदेश के लिए सर्वप्रथम प्रदेश अध्यक्ष दिलीप जैन एवं राष्ट्रीय महामंत्री उदयभान जैन जयपुर को भार सौंपा गया, जिसे उन्होंने सहर्ष स्वीकार किया। बैठक में ही युवा परिषद् बुलेटिन के नवीन अंक माह जून का विमोचन भी पूज्य माताजी के करकमलों से सम्पन्न कराया गया।
उक्त बैठक में राष्ट्रीय अध्यक्ष के साथ ही संरक्षक हसमुख गांधी-इंदौर, डाॅ. अनुपम जैन-इंदौर, मुख्य संयोजक प्रतिष्ठाचार्य विजय कुमार जैन-जम्बूद्वीप, उपाध्यक्ष पवन कुमार जैन ‘घुवारा’-टीकमगढ़, राष्ट्रीय महामंत्री उदयभान जैन-जयपुर, राष्ट्रीय संयुक्त महामंत्री एवं राजस्थान प्रदेश अध्यक्ष दिलीप जैन-जयपुर, राष्ट्रीय संगठन मंत्री निधेश जैन-टिकैतनगर, केन्द्रीय प्रभारी मंत्री-बुन्देलखण्ड अशोक जैन क्रांतिकारी-हटा आदि उपस्थित रहे। अंत में प्रज्ञाश्रमणी आर्यिका श्री चंदनामती माताजी ने अपना उद्बोधन देते हुए युवा परिषद् को जैन समाज में हो रहे अंर्तजातीय-विजातीय विवाहों पर चिंता व चिंतन करने की प्रेरणा दी। उन्होंने कहा कि सज्जातीय विवाह परिचय सम्मेलन आज समाज की आवश्यकता है। युवा परिषद् को इस क्षेत्र में आगे बढ़ना चाहिए। उन्होंने कहा कि इसी प्रकार अयोध्या तीर्थ के विकास में भी युवा परिषद् को हर संभव अग्रणी रहकर अपने यश को बढ़ाने का यह मौका हासिल करना चाहिए और देश की समस्त शाखाओं के युवाओं को इस तीर्थ के विकास, प्रभावना व प्रचार-प्रसार में अपनी श्रेष्ठ सेवाएं देना चाहिए। इसी प्रकार अंत में पूज्य गणिनीप्रमुख श्री ज्ञानमती माताजी ने भी पधारे समस्त पदाधिकारी व कार्यकर्ताओं को सभी कार्यों में सफलता के लिए अपना वात्सल्यमयी मंगल आशीर्वाद प्रदान किया।