भव्य पिच्छी परिवर्तन कार्यक्रम भी हुआ
झुमरीतिलैया । श्रमण मुनि श्री विशल्यसागर जी गुरुदेव सघंघ का चातुर्मास समापन के साथ पिच्छी परिवर्तन कार्यक्रम हुवा।जिसमे नया मंदिर से कार्यक्रम स्थल पर पिच्छी को जुलूस के साथ बाहर से आये भक्तों ने लाकर अपनी उपस्थिति दर्ज की । इस अवसर पर कलश वितरण का कार्य भी गुरुदेव के मंगल आर्शीवाद के साथ सम्पन्न हुआ। गुरुदेव ने अपने उद्बोधन में कहा कि यह पिच्छी परिवर्तन नहीं हृदय का परिवर्तन हैं यह पिच्छी कोई शोभा की वस्तु नहीं यह तो एक साधना का उपकरण है निर्ग्रंथ चर्या का परम उपकरण है बिना पिच्छी के साधु सात कदम से आगे नहीं जा सकते।यदि पिच्छी नहीं हो तो कोई नमोस्तु भी नहीं करेगा। पिच्छी के बिना समिति का पालन नहीं हो सकता ।संयम का आधार ,अहिंसा का प्रतीक है पिच्छी एक साल में परिवर्तन जरूरी है क्योंकि पिच्छी की एक साल में मृदुता नष्ट होने लगती है इसलिए अहिंसा के पालन में बाधक होती है इसलिए पिच्छी बदलना जरूरी रहती है पिच्छी के विशेष पाँच गुण होते है। मृदुता, लघुता, सुकुमता, अराजकता और पसीना को ग्रहण नही करती।यह पिच्छी मोर के पंखो से प्राप्त होती है यह भी अहिंक होती है क्योंकि जब मोर के नए पंख आने लगते है तो वह पुराने पंखों को छोड़ देती है और उसे उठाकर ,इकठा करके पिच्छी बना लेते है । यह पिच्छी इतनी कोमल हाेती है कि यदि पंख आँख में भी चला जाएँ तो इससे कोई हानि नहीं होती वैसे तो पिच्छी के अनेको गुण है वह धूल ,मिट्टी,पानी आदि किसी को ग्रहण नहीं करती साथ ही इतनी कोमल होती है कि जीवों के प्राणों की भी रक्षा होती है। गुरुदेव विशल्यसागर जी महाराज की पुरानी पिच्छी ग्रहण करने का सौभाग्य प्राप्त हुआ सुरेन्द्र जैन काला एवं विनिशोध सागर जी महाराज की पुरानी पिच्छी ग्रहण करने का सौभाग्य ललित जैन सेठी जी को प्राप्त हुआ । ऐलक तत्त्वार्थ सागर जी महाराज की पुरानी पिच्छी ग्रहण करने का सौभाग्य मनोज जैन गंगवाल, को प्राप्त हुई तथा क्षुल्लिका विसाम्य श्री माता जी की पुरानी पिच्छी ग्रहण करने का सौभाग्य रूपेश जैन छाबड़ा को प्राप्त हुई। सभी कार्यक्रम संघस्थ अलका दीदी,भारती दीदी के निर्देशन में हुये ।इस अवसर पर समाज के मंत्री ललित सेठी,सह मंत्री राज छबड़ा, मार्ग निर्देशक सुरेश झांझरी,सुशील छाबड़ा, प्रदीप छाबडा,जय कुमार गंगवाल,मनीष सेठी, मीडिया प्रभारी राजकुमार अजमेरा, दिलीप बाकलीवाल,बिकास पाटोदी, ऋषभ सेठी,महिला संगठन की अध्यक्ष नीलम सेठी मंत्री आशा गंगवाल, मंच संचालन सुबोध गंगवाल ,गया से आई सुगन्धा जैन , स्थानीय पंडित अभिषेक जैन,साथ ही पूरे समाज के लोग इस कार्यक्रम का हिस्सा बने ।
कोडरमा मीडिया नविन जैन,राजकुमार अजमेरा ने दी
